वेबसाइट पर एक टिप्पड़ी है - "प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने में लग गया था सोचा था ऑनलाइन एग्जाम हो जाएगा लेकिन ऑफलाइन की सूचना मिली थोड़ा दुख हुआ कि अब कोर्स की परीक्षा पर ज्यादा ध्यान देना पड़ेगा जिससे मेरी प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी काफी हदतक प्रभावित होगी"
एक साहब की प्रतिक्रिया तो बड़ी ही रोचक है - "ऑनलाइन एग्जाम तो शौचालय में बैठ कर भी दे देते थे अब ऑफलाइन एग्जाम , मारो मुझे मारो"
एक टिप्पड़ी है वेबसाइट पर ही - "छात्र संघ को इस क्रूर फैसले के खिलाफ कदम उठाना चाहिए जब तक छात्र संघठित है कोई ना इंसाफी नही कर सकता"
इंस्टाग्राम पर एक यूजर लिखते हैं - "ये एयू है मेरे दोस्त आपकी सोच से कई गुना तेज़ है इनकी सोच ये करेंगे मनमानी ही जो उखाड़ना उखाड़ लो"
फेसबुक पर एक यूजर कहते हैं - "अभी तो कैंपस भी सही से नही खुला और ऑफलाइन का खाका तैयार होना शुरू हो गया , बहुत नाइंसाफी है"
प्रतिक्रियाओं की माने तो ज्यादातर प्रतिक्रियाएं ऑनलाइन एग्जाम करवाने के पक्ष में हैं और ऑनलाइन एग्जाम देने की मंशा को लेकर एक बात स्प्ष्ट होती नजर आ रही है कि अगर क्लास ऑनलाइन चली है तो एग्जाम भी ऑनलाइन हो। क्यों कि दोनों अनुभव अलग अलग हैं।
वहीं ऑफलाइन एग्जाम को लेकर भी कई लोग बातें कर रहे हैं और सही ठहरा रहे हैं इन लोगों का मानना है कि एग्जाम कैसे भी हो अगर आपकी तैयारी और आपमें टैलेंट है तो आपके लिए कोई भी मोड कठिन नही होगा।
वहीं इस ख़बर पर प्रतिक्रिया देते हुए चीफ प्रॉक्टर का कहना है कि "यह सब बातें जल्द ही स्पष्ट हो जाएंगी लेकिन अगर ऑफलाइन पढ़ाई शुरू हो सकती है तो ऑफलाइन परीक्षा भी हो सकती है"
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